No risk, no life :
"मैं जिन्दा हूँ, मुझे ऐ मांझी तूफान में ले चल
क्रियाशीलता की मौत है किनारे के परदे में।"
क्रियाशीलता की मौत है किनारे के परदे में।"
(- simplified form of sher by शकील बदायूनी)
The original sher is as follows:
"मैं जिन्दा हूँ, मुझे ऐ नाखुदा तूफान में ले चल
मेरे ज़ौक़े-अमल की मौत है साहिल के परदे में।"
(- शकील बदायूनी)
"मैं जिन्दा हूँ, मुझे ऐ नाखुदा तूफान में ले चल
मेरे ज़ौक़े-अमल की मौत है साहिल के परदे में।"
(- शकील बदायूनी)
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